आजकल कोविड -19 यानी कोरोना वायरस ने दुनिया के अनेक देशों में कहर बरपाया हुआ है। हमारा देश भी इससे अछूता नहीं रह गया है। ऐसे में हर इंसान इस वायरस से बचने के उपायों के बारे में जानना चाहता है। इन्हीं उपायों को लेकर कुछ मिथक भी सामने आ रहे हैं। इन मिथक यानी मिथ्या बातों को लेकर लोग समझ नहीं पा रहे हैं कि क्या सही है और क्या गलत। इस स्थिति में विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इन मिथकों के संबंध में सही विश्लेषण प्रस्तुत किया है, जो इस प्रकार है।
भ्रांति: धूप सेंकने से या 25 डिग्री से ऊपर तापमान में रहने से कोरोना वायरस से बचा जा सकता है।
तथ्य: चाहे कितनी भी धूप या गरमी क्यों न हो, कोरोना वायरस आपको संक्रमित कर सकता है। सिंगापूर, पाकिस्तान और अन्य ऐसे कई देश जहां तापमान 25 डिग्री से ऊपर है, वहाँ कोरोना वायरस से संक्रमण के हजारों मामले सामने आ चुके हैं।
भ्रांति: अगर कोई कोरोना वायरस से संक्रमित हो गया, तो यह संक्रामण जीवनभर रहेगा।
तथ्य: यह बात पूर्ण रूप से गलत है। कोरोना वायरस से संक्रमित अधिकतर लोग इस संक्रामण से पूरी रूप से मुक्त हो जाते हैं।
भ्रांति: मच्छर के काटने से आपको कोरोना वायरस का संक्रमण हो सकता है।
तथ्य: अभी तक ऐसी कोई जानकारी सामने नहीं आई है कि मच्छर के काटने से कोविड 19 बीमारी फैलती है। कोरोना एक श्वशन वायरस (respiratory virus) है जो मुख्यतर तब फैलता है जब एक संक्रमित व्यक्ति छिंकता है या खाँसता है और उसके नाक या मुह्न से निकली बूंदें किसी दूसरे व्यक्ति के संपर्क में आती है।
इसीलिए आपको बार-बार अच्छे से हाथ धोने की सलाह दी जा रही है। ताकि अगर यह वायरस किसी तरह आपके हाथों तक पहुँच भी गया है, तब भी आप साबुन पानी से धोकर अपने हाथों से इस वायरस को मुक्त कर सकती हैं। नोट: आपके हाथों पर कोरोना वायरस अगर है भी तो इसका अर्थ यह नहीं कि आप संक्रमित हैं। आप संक्रमित तब होंगे जब यह वायरस आपके हाथों से आपके नाक या मुंह या आँखों के माध्यम से आपके शरीर के अंदर प्रवेश करेगा।
भ्रांति: हैंड ड्रायर का इस्तेमाल कर इस कोरोना वायरस को खत्म किया जा सकता है।
तथ्य: ऐसा बिल्कुल नहीं है। हैंड ड्रायर कोविड – 19 को खत्म करने में प्रभावकारी नहीं है। खुद को इस वायरस से सुरक्षित रखने का सबसे असरदार तरीका है अल्कोहल बेस्ड सैनिटाइजर से या साबुन से जल्दी -जल्दी हाथ धोना। जब आप अच्छी तरह से हाथ धो लेते हैं तब पेपर टॉवेल या हल्के गर्म एयर ड्रायर से सुखाएं।
भ्रांति: अल्ट्रावॉयलेट डिसइंफेक्शन लैंप इस नए कोरोना वायरस को खत्म कर सकता है
तथ्य: अल्ट्रावॉयलेट लैंप का इस्तेमाल हाथों या अन्य किसी जगह पर कीटाणुरहित करने के लिए नहीं करना चाहिए क्योंकि यूवी किरणें त्वचा को नुकसान पहुँचा सकती हैं।
भ्रांति: कोरोना वायरस से संक्रमण से बचाव के लिए या इससे संक्रमित होने पर इलाज के लिए विशेष दवा उपलब्ध है।
तथ्य: अभी तक इस वायरस के संक्रमण से बचाव के लिए या इससे संक्रमित होने पर इसके इलाज़ के लिए कोई विशेष दवा उपलब्ध नहीं है।
इस वायरस से संक्रमण होने पर रोगियों की अच्छी देखभाल की जानी चाहिए जिससे इनको आराम मिले और इससे होने वाली परेशानियों का उपयुक्त इलाज किया जाना चाहिए। जिन लोगों को कोरोना वायरस से पीड़ित होने पर गंभीर रूप से बीमार होने वाले रोगियों को और भी ज्यादा देखभाल की जानी चाहिए और इन्हें अनुकूलित सहायक देखभाल की सुविधा दी जानी चाहिए। इसके इलाज के लिए कुछ खास उपचारों की जाँच की का रही है। इसके बाद इन उपचारों के क्लीनिकल परीक्षण भी किए जाएंगे। विश्व स्वास्थ्य संगठन इस वायरस को खत्म करने के लिए की जा रही रिसर्च और विकास में तेजी लाने में इस पर काम करने वाले वैज्ञानिकों की सहायता कर रहा है।
भ्रांति: लहसुन खाने से कोरोना वायरस से बचा जा सकता है।
तथ्य: लहसुन स्वास्थ्य के लिए फ़ायदेमंद होता है। इसमें कुछ रोगाणुरोधी तत्व भी हो सकते हैं। फिर भी इसके कोई तथ्य नहीं हैं कि लहसुन खाने से इस नए वायरस के संक्रमण से बचा जा सकता है।
भ्रांति: गर्म पानी से नहाना कोरोना वायरस बीमारी को होने से रोकता है।
तथ्य: गर्म पानी से नहाना कोविड -19 से बचाव नहीं करेगा। क्योंकि मानव शरीर का सामान्य तापमान 36.5° सेल्सियस से 37°C तक रहता है, इसलिए कैसे भी पानी नहाने का प्रभाव शरीर पर नहीं पड़ता। वास्तव में ज्यादा गर्म पानी से नहाना नुकसानदायक हो सकता है, यह पानी आपको जला भी सकता है। इस वायरस से बचने का सबसे कारगर उपाय हाथों को साबुन व पानी से धोना है। ऐसा करके हाथों से आँख, नाक व मुँह तक इस वायरस को पहुँचने से रोका जा सकता है।
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