बेसन यानी चने का आटा। बाजार में कई तरह से आटे मौजूद है, उन्ही में से एक है बेसन। पर ये बाकी सब से थोड़ा सा अलग है। इसे कई तरह की दाल मिलाकर बनाया जाता है। बेसन का आटा पीले रंग का होता है। इसके कई उपयोग है।
बेसन की मिठाईयां, बेसन के पकोड़े, फेस पैक में बेसन का प्रयोग, और भी कई तरह से बेसन का प्रयोग किया जाता है।
इसका विभिन्न तरीको से इस्तेमाल करने का कारण है इसके फायदे।बेसन से कई फायदे है जैसे चहरे के दाग को हटाता है, त्वचा को गोरा करने में मदद करता है, और इसका इस्तेमाल उबटन लगाने के लिए भी किया जाता है। हालांकि किसी भी चीज़ का अधिक उपयोग नुकसानदायक भी होता है, इसी प्रकार बेसन के भी कुछ नुक्सान है।
बेसन के फायदे :-
• कोलेस्ट्रॉल लेवल का नियंत्रण
बेसन में अनसैचुरेटेड फैट्स मौजूद होता है जो हमारे स्वास्थ के लिए लाभकारी होता है। यह हमारे शरीर में कोलेस्ट्रॉल का संतुलन बनाये रखता है।
• डायबिटीज का नियंत्रण
बेसन में ग्लिसेमिक इंडेक्स कम होता है, जिसकी वजह से बेसन डायबिटीज के मरीज़ों के लिए एक बेहतरीन व्यंजन साबित होता है। इसलिए डायबिटीज की परेशानी से गुज़र रहे लोगो को बेसन से बने व्यंजन खाने की सलाह दी जाती है।
• एनीमिया का उपचार
बेसन में भरपूर मात्रा में आयरन पाया जाता है। इसी कारण बेसन आयरन की कमी को पूरा करने का भी काम करता है।
• मूड के लिए लाभकारी
बेसन में विटामिन बी६ पाया जाता है जो सेरोटोनिन बनाने में मदद करता है। सेरोटोनिन मूड को बेहतर करने में मदद करता है और तनाव से भी दूर रखता है।
• हड्डीओं की मजबूती
बेसन में मौजूद फॉस्फोरस हमारे शरीर में मौजूद कैल्शियम के साथ मिलकर हड्डियों के निर्माण में मदद करता है और उन्हें मजबूती भी देता है।
• प्रेगनेंसी
बेसन में फोलेट पाया जाता है जो गर्भ में पल रहे बच्चे के दिमाग, रीढ़ की हड्डी और बच्चे के पूर्ण विकास के लिए लाभकारी होता है, इसलिए प्रेगनेंसी के दौरान इसे खाने की सलाह दी जाती है।
बेसन के नुक्सान :-
♦ बेसन का ज़्यादा उपयोग करने से दिल की धड़कनें तेज़, और अनियमित होने की समस्या आ सकती है।
♦ बेसन का ज़्यादा प्रयोग घबराहट होने का कारण बन सकता है।
♦ बेसन चने की दाल से बनता है, और चने की दाल में गर्माहट होती है, इस वजह से बेसन का अतिरिक्त उपयोग शरीर की गर्मी बढ़ा देता है और इससे स्किन लाल पड़ जाती है।
♦ बेसन का ज़्यादा सेवन करने से नींद आती है, और थकावट भी महसूस होती है।
♦ बेसन के अधिक उपयोग से दस्त, पेट में गैस बनने की समस्या हो सकती है।
♦ इससे एसिडिटी भी हो सकती है।
♦ जिन लोगो को किडनी स्टोन्स की परेशानी है, उन्हें बेसन का सेवन न करने की सलाह दी जाती है।
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